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Dahaad Review In Hindi : सामाजिक बुराइयों के खिलाफ सोनाक्षी सिन्हा की दहाड़, सस्पेंस और थ्रिल का मिलता है भरपूर स्वाद।

Dahaad Review In Hindi : सामाजिक बुराइयों के खिलाफ सोनाक्षी सिन्हा की दहाड़, सस्पेंस और थ्रिल का मिलता है भरपूर स्वाद।

Dahaad Web series Review in Hindi

Dahaad Web Series : सोनाक्षी सिन्हा की ओटीटी डेव्यू वेबसीरीज 'दहाड़' रिलीज़ हो चुकी है। सीरीज मे आपको विजय वर्मा भी लीड रोल मे देखने मिलेंगे। दहाड़ एक क्राइम थ्रिलर सीरीज है जिसका फैंस को काफी लम्बे समय से इंतज़ार था। वैसे तो ओटीटी पर हर रोज बहुत सी वेबसीरीज और फिल्में रिलीज़ होती है। ऐसे कुछ ऐसा बनाना जो दर्शकों को अपनी तरफ खीच सके बहुत ही मुश्किल काम है लेकिन दहाड़ इस मुश्किल काम को करने मे सफल रही वह दर्शकों को अपनी तरफ खीचनें मे कोई कसर नही छोड़ती। बता दे की इस 8 एपिसोड वाली दहाड़ का निर्देशन रीमा कागति और रुचि ओबेरॉय ने किया है।


Dahaad Webseries Story In Hindi


सीरीज की कहानी को राजस्थान के एक क्षेत्रीय इलाके मे सेट किया गया है। जिसमे दिखाया जाता है की एक लड़का अपनी बहन कृष्णा की रिपोर्ट लिखाने पुलिस स्टेशन जाता है जो लगभग 6 महीने से लापता है। लेकिन पुलिस इस केस पर एक्शन लेने से मना करती है इसके पहले भी एक लड़की लापता हुई है जिसका केस कृष्णा के केस से काफी मिलता जुलता है यह बात सोनाक्षी का किरदार यानी की अंजलि भाटी अपने उच्च अधिकारी को बताती है। पुलिस के रोल मे सोनाक्षी सिन्हा खूब जंची है इसके बाद केस की गुत्थी उलझती जाती है और बाद मे पता चलता है की एक बाद एक 27 लड़किया लापता हो चुकी है। पुलिस का मानना है की यह किसी एक आदमी का काम है जो बड़ी चालाकी से उन लड़कियों को अग्वाह करके मार रहा है। इस केस को सुलझाने का काम अंजलि भाटी को सौपा जाता है अब अंजलि भाटी सिरियल किलर को पकड़कर उन मिसिंग लड़कियों को न्याय कैसे दिलायेगी यही सीरीज की कहानी मे दिखाया जायेगा। 


Dahaad Webseries Review 


सोनाक्षी की यह वेबसीरीज काफी दिलचस्प है जो एक ऐसी कहानी दिखाती है जो आपको हिला कर रख देगी और सोचने पर भी मजबूर करेगी। कहानी मे काफी थ्रिल और सस्पेंस है जो इसे एक शानदार और दमदार कहानी बनाता है। वेबसीरीज के एपिसोड लम्बे है शुरुआत मे लगता है की इतने भारी भारी एपिसोड कैसे देख पाएंगे लेकिन कहानी को जिस लहजे मे पेश किया गया है वो आपको आखिर तक बांध कर रखेगा यह लेहजा पूरी सीरीज को इंट्रेस्टिंग बना देता है इसका क्रेडिट मेकर्स और उनकी टीम को जाना चाहिए क्योंकि उनका काम सराहनीय है। बीजीएम कमाल का है जो कानों मे एक अलग तरह का रस खोल देता है बैकग्राउंड को सुनते ही थ्रिल और सस्पेंस का अहसास होता है। यह सिर्फ क्रिमिनल को ट्विस्ट और टर्न के साथ पकड़ने की बात नही करती बल्कि वो क्रिमिनल कैसे बना इस बात पर भी चर्चा करती है आप इसे महसूस कर सकते है। कास्टिंग की बात करे तो सोनाक्षी सिन्हा ने अंजलि भाटी के किरदार मे लाजवाब लगती है उनकी एक्टिंग बेहद कड़क है उन्होंने इस किरदार मे अपना बेस्ट दिया है जिस तरह से उन्होंने किरदार की बॉडी लेंग्वेज और बोलने के तरीके को पर्फेक्शन के साथ पकड़ा है वो काबिले तारीफ है। विजय वर्मा भी अपने किरदार मे खूब जमे इस किरदार के लिए उनकी जितनी तारीफ की जाए सब कम है। गुलशन देवैया भी एक पुलिस अफसर के रूप मे अपना जलवा दिखाते है। सीरीज की लंबाई इसकी सबसे कमजोर कड़ी है अगर इसे और कम समय मे समेटा जाता तो और बेहतर होता।





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